“आदर्श आनंद” संघर्ष और सफलता।
उड़ान कामयाबी की।
इसमें कोई दो राय नहीं कि सोशल मीडिया ने कई लोगों को रातों-रात पॉपुलर करने का काम किया है। वहीं, सोशल मीडिया देशभर के छुपे हुए टैलेंट को बाहर निकालने का एक बहुत बड़ा माध्यम बनकर उभरा है। ऐसा भी होता है कि कई बार पैसों की कमी प्रतिभा के रास्ते का रोड़ा बन जाती है, हालांकि विभिन्न सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म ने इस रोड़े को हटाने का काम किया है। एक ऐसे ही प्रतिभावान युवा की सक्सेस स्टोरी हम आपको बताने वाले हैं जिनका नाम है आदर्श आनंद। सोशल मीडिया और अपने टैलेंट के ज़रिए आज उन्होंने अपने लाखों फ़ैन्स बना लिए हैं।
कौन हैं आदर्श आनंद?
आदर्श आनंद युवा कलाकार हैं। उनकी आयु 25 साल है और आदर्श का जन्म 4 नवंबर 1995 को बिहार के भागलपुर में हुआ था। उनके पिता का नाम रविकर प्रसाद कर्ण है और माता का नाम मधुबाला देवी है। उनके पिता पेशे से एक टीचर हैं और उनकी मां एक हाउसवाइफ हैं। आदर्श की दो बहनें भी हैं। परिवार के सभी लोग आदर्श आनंद का पूरा सपोर्ट करते हैं। वहीं, उनकी शिक्षा की बात करें, तो उन्होंने साइंस विषय में ग्रेजुएशन किया है।
वह करीब 12 साल से एक्टिंग की दुनिया में हैं। हालांकि, उन्हें पहचान भारत में बैन हुए एप टिकटॉक एप से मिली है। जिसके बाद आदर्श ने यूट्यूब, इंस्टाग्राम व फ़ेसबुक के मध्यम से अपनी ख़ास पहचान बनाई है। आज के समय में उन्हें इंस्टाग्राम पर 1 मिलियन से ज़्यादा लोग फ़ॉलो करते हैं और यूट्यूब पर उनके 1.57 मिलियन सब्सक्राइबर्स हैं।
क्या ख़ास है आदर्श आनंद की कलाकारी में?
आदर्श आनंद एक एक्टर हैं और कई फ़िल्मों व गानों पर फ़नी स्पूफ़ वीडियो बनाकार शेयर करते रहते हैं, जिन्हें लोग काफ़ी पसंद भी करते हैं। साथ ही वो मिमिक्री आर्टिस्ट भी हैं। इसके अलावा वो कई छोटे-बड़े शो में भी जाते हैं। ज़ी टीवी के एक शो में भी उन्हें बुलाया गया था।
बता दें, उनकी एक टीम है, जिनमें कुछ बच्चे भी शामिल हैं। वो बच्चे भी काफ़ी टैलेंटेड हैं, जो आदर्श के ज्यादातर हर वीडियोज़ में नज़र आते हैं। कभी साड़ी पहनकर महिलाओं के लिवाज़ में, तो कभी एक्टर्स की एक्टिंग कर वो सोशल मीडिया पर लोगों का दिलों पर राज करते हैं। ज्यादातर वे वीडियो गांव के परिवेश में ही शूट करते हैं। साथ ही वो सोशल मुद्दों पर भी वीडियोज़ बनाते रहते हैं।
आदर्श आनंद की सफलता का राज
बिहार के भागलपुर से आने वाले आदर्श कला के क्षेत्र में आज सफलता की नई कहानी गढ़ रहे हैं। उनका यह सफर उतार-चढ़ाव से भरा रहा है, सीमित संसाधनों के जरिए ही उन्होंने अपने कौशलता के दम पर सफलता के नए आयाम स्थापित किए। झोपड़पट्टी में रहकर कंटेंट क्रिएट करने वाले आदर्श के चाहने वालों की संख्या अब लाखों में है। आदर्श की यह कहानी कला के क्षेत्र में भविष्य संवारने वाले नए युवाओं के लिए प्रेरणा है।
शुरआत में वह में बच्चों के साथ मस्ती, रिक्शा वालों के साथ व महिलाओं के साथ बनाए गए कंटेंट को वीडियो शेयरिंग प्लेटफार्म टिक टॉक पर डालते रहे। धीरे-धीरे उनके वीडियो लोगों को काफी पसंद आने लगे। उन्होंने अपने ही नाम से यूट्यूब अकाउंट बनाया और वहां मिमिक्री वाले वीडियो डालने लगे। यहां पर भी सफलता उनके हाथ लगी। उनके वीडियो को लोगों ने इतना पसंद किया कि ज़ी टीवी के शो मूवी मस्ती विद मनीष पॉल में सिलेक्शन के लिए आदर्श को मुंबई बुलाया गया।
उन्होंने बताया कि, जब उन्हें एक ऑडिशन के लिए चंडीगढ़ जाना था, तो ट्रेन की टिकट के पैसे उनके शिक्षक ने दिए थे। हमारे समाज में पनप रहे युवाओं को शुरू से ही उदासीनता का सामना करना पड़ा है, उनके साथ भी कुछ ऐसा ही हुआ था। इसके बावजूद उन्होंने इन सबको पीछे छोड़ते हुए अपना काम को बखूबी किया, जिसका परिणाम आज पूरी दुनिया देख रही है।
बिहार ही नहीं देश के हर कोने में आदर्श के फैंस हैं। यूट्यूब पर उनके 1.5 मिलियन यानी कि 15 लाख सब्सक्राइब हैं, अब उनके वीडियो को करोड़ों लोग देखना पसंद करते हैं। उनके चैनल पर “शीशे की उम्र…’ वाले वीडियो को लगभग 23 मिलियन लोगों ने देखा था। सोशल मीडिया के प्रमुख प्लेटफॉर्म फेसबुक, इंस्टाग्राम पर भी वह 2 मिलियन फैन फॉलोइंग के साथ लोगों के दिलों पर राज करते हैं।
कितना कमाते हैं?
आदर्श आनंद की यूट्यूब से पहली कमाई 8 हजार रुपये मात्र थी। लेकिन अब उनकी इनकम में उतार चढ़ाव होता है। बस इतना समझ लीजिए कि मिलियन का आंकड़ा पहुंच जाता है। बता दें कि उनकी ओटीटी प्लेटफार्म पर एक फिल्म जल्द ही रिलीज होने वाली है।
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